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सच्चाई जानें, ज़िंदगी बचाएँ!

सच्चाई जानें, ज़िंदगी बचाएँ!

सच्चाई जानने से हमारी जान बच सकती है। गौर कीजिए कि आगे दिए गए सवाल के जवाब से हमारी ज़िंदगी पर क्या असर हो सकता है, संक्रामक बीमारियाँ कैसे फैलती हैं?

हज़ारों सालों से इस सवाल का जवाब कोई नहीं जानता था। इस दौरान बीमारियों और महामारियों ने लाखों लोगों की जान ले ली। आखिरकार वैज्ञानिकों को सच्चाई का पता चला कि अकसर बीमारियाँ बैक्टीरिया और सूक्ष्म-जीवों से फैलती हैं। इस सच्चाई का पता लगने से बहुत-से लोगों को बीमारियों से बचने और उनका इलाज कराने में मदद मिली। इसका नतीजा यह हुआ कि अरबों लोग पहले के मुकाबले ज़्यादा लंबी और सेहतमंद ज़िंदगी जीते हैं।

दूसरे ज़रूरी सवालों के बारे में क्या कहा जा सकता है? नीचे दिए गए सवालों की खोज का आप पर क्या असर हो सकता है?

  • परमेश्‍वर कौन है?

  • यीशु मसीह कौन है?

  • परमेश्‍वर का राज क्या है?

  • आनेवाला कल कैसा होगा?

लाखों लोगों को इन सवालों के जवाब मिले हैं, जिनसे उनकी ज़िंदगी काफी बेहतर हुई है। आपको भी इन सवालों के जवाबों से फायदा हो सकता है।

क्या आप सच्चाई का पता लगा सकते हैं?

आप शायद सोचें, ‘किसी भी चीज़ के बारे में सच्चाई जानना कैसे मुमकिन है?’ वह इसलिए कि आज सच्चाई का पता लगाना बहुत मुश्‍किल होता जा रहा है। ऐसा क्यों कहा जा सकता है?

आज बहुत-से लोगों का भरोसा सरकारों, व्यापारियों और मीडिया पर से उठ गया है, क्योंकि वे सच्चाई पर परदा डालते हैं। यह पता लगाना मुश्‍किल हो गया है कि लोग सच बोल रहे हैं या अपनी राय बता रहे हैं, आधी-अधूरी जानकारी दे रहे हैं या झूठ बोल रहे हैं। आज भरोसा तोड़ना और सच्चाई को तोड़-मरोड़कर पेश करना आम हो गया है, इसलिए सच्ची बात को भी लोग झूठ समझते हैं।

इन मुश्‍किलों के बावजूद हम ज़िंदगी से जुड़े ज़रूरी सवालों के सही जवाब पा सकते हैं। कैसे? कुछ ऐसे ज़रूरी कदम उठाकर, जो हम अकसर ज़िंदगी के छोटे-मोटे सवालों के जवाब पाने के लिए करते हैं।

सच्चाई के लिए आपकी खोज

कुछ हद तक आप हर दिन किसी-न-किसी सवाल का जवाब ढूँढ़ते हैं। जैसिका के हालात पर गौर कीजिए। वह कहती है, “मूँगफली खाने से मेरी बच्ची की तबियत बिगड़ जाती है। यहाँ तक कि मूँगफली का थोड़ा-सा अंश भी उसकी जान ले सकता है।” इसलिए जैसिका ध्यान रखती है कि जो खाना वह खरीद रही है, वह उसकी बेटी के लिए नुकसानदेह न हो। वह आगे कहती है, “सबसे पहले मैं खाने की चीज़ों पर दी गयी जानकारी पढ़ती हूँ कि उसमें क्या-क्या चीज़ें इस्तेमाल की गयी हैं। उसके बाद और खोजबीन करती हूँ, यहाँ तक कि उस चीज़ को बनानेवाली कंपनी से भी पता करती हूँ कि कहीं गलती से भी मूँगफली का कुछ अंश खाने की उस चीज़ में तो नहीं आ गया। इतना ही नहीं, मैं दूसरे भरोसेमंद लोगों से बात करती हूँ, ताकि जान सकूँ कि जो चीज़ मैं खरीद रही हूँ वह सुरक्षित है या नहीं।”

आप शायद सोचें, ‘मैं आम तौर पर जिन सवालों के जवाब ढूँढ़ता हूँ वे इतने ज़रूरी नहीं होते।’ लेकिन जैसिका की तरह आप आगे बताए कदम उठाकर अपने सवालों के जवाब पा सकते हैं:

  • पूरी जानकारी इकट्ठी कीजिए।

  • ज़्यादा खोज कीजिए।

  • ध्यान रखिए कि जहाँ से आप जानकारी ले रहे हैं, वह भरोसेमंद हो।

ज़िंदगी के ज़रूरी सवालों के जवाब पाने के लिए ये तरीके फायदेमंद हो सकते हैं। किस तरह?

सच्चाई की बेहतरीन किताब

सच्चाई जानने के लिए भी जैसिका ने वैसे ही खोजबीन की, जैसे उसने अपनी बेटी के खाने के बारे में की थी। वह कहती है, “ध्यान से पढ़ाई और अच्छी तरह खोजबीन करके मैंने बाइबल से सच्चाई जान ली।” जैसिका की तरह लाखों लोग आगे बताए सवालों के जवाब बाइबल से जान चुके हैं:

  • हमारे जीने का मकसद क्या है?

  • मरने पर क्या होता है?

  • इतनी दुख-तकलीफें क्यों हैं?

  • इन दुख-तकलीफों को दूर करने के लिए परमेश्‍वर क्या कर रहा है?

  • हमारा परिवार कैसे खुश रह सकता है?

इन सवालों के और ऐसे ही दूसरे कई सवालों के सही जवाब, आप बाइबल पढ़कर और www.jw.org पर खोजबीन करके पा सकते हैं।